अपने औद्योगिक पिछड़ेपन को भुलाकर बिहार अब धीरे-धीरे औद्योगिक क्षेत्र में तरक्की करने लगा। प्रदेश के उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन के नेतृत्व में विगत कुछ वर्षों में कई नए उद्योग लगे हैं। हालांकि अभी भी पर्याप्त नहीं है लेकिन अगर बिहार के पूर्व की स्थिति से तुलना करें तो औद्योगिक क्षेत्र में काफी विकास हुआ है। 8 जून को सीएम नीतीश कुमार पटना के अधिवेशन हॉल में आयोजित टेक्सटाइल इनवेस्टर मीट में न्यू टैक्सटाइल व लेदर पॉलिसी को लागू करेंगे।
टेक्सटाइल उद्योग के लिए 10 करोड़ तक की सब्सिडी देगी सरकार।
बता दें कि पॉलिसी के लागू होते ही यह देश का पहला राज्य बन जायेगा, जहां इस तरह के पालिसी को लागू किया गया है। उन्होंने कहा कि आठ जून को होने वाले टेक्सटाइल इनवेस्टर मीट में काफी संख्या में इनवेस्टर भाग लेंगे। यह पॉलिसी को पहले ही कैबिनेट से पास कर दिया गया है। इस उद्योग को लगाने के लिए सरकार 10 करोड़ रुपये की सब्सिडी देगी। उद्योग भागलपुर के लिए खास होगा क्योंकि भागलपुर पहले से ही छोटे स्तर के टेक्सटाइल उद्योग का केंद्र रहा है।
30 हजार करोड़ के निवेश का प्रस्ताव, लोगों को मिलेगा रोजगार।
जानकारी के अनुसार इस तरह के उद्योग में काम करने वाले कर्मियों की संख्या एक हजार और सैलरी 15 हजार रुपये होगी, उसमें सरकार भी सहायता करेगी। उन्होंने कहा कि बिहार में चनपटिया औद्योगिक कॉरीडोर मॉडल स्थापित किया गया। 521 औद्योगिक इकाइयों के लिए 38 हजार करोड़ की राशि के निवेश का प्रस्ताव मिला है। बता दें कि बिहार में उद्योग लगाने के लिए भी बियाडा 50% कम दर पर जमीन उपलब्ध करा रहा है।